इलाहाबाद । प्रदेश नेतृत्व के दिशा निर्देश पर पूरे प्रदेश में संपन्न होने वाली जिला कार्य समिति की बैठक की कड़ी में वात्सल्य सभागार में इलाहाबाद महानगर की बैठक को बीच में निरस्त कर देश के पूर्व प्रधानमंत्री भारत रत्न अटल बिहारी वाजपेई के मृत्यु की सूचना प्राप्त होते ही माहौल गंभीर हो गया और सभी उपस्थित कार्यकर्ताओं ने अपने अश्रुपूरित नेत्रों से श्रद्धा सुमन अर्पित किया तथा सभी उपस्थित कार्यकर्ताओं ने 2 मिनट का मौन रखकर ईश्वर से उनकी आत्मा को शांति और अपने चरणों में स्थान देने के लिए प्रार्थना की ।
उसके पूर्व नगर निगम सिविल लाइंस स्थित हनुमान मंदिर में कार्यकर्ताओं ने उनके स्वास्थ्य की मंगलकामना के लिए पूजन अर्चन करते हुए हनुमान चालीसा और बजरंग बाण का पाठ किया
शोक सभा में उनके साथ तथा उन के सानिध्य में कार्य किए हुए भाजपा के वरिष्ठ नेता पूर्व मंत्री डॉक्टर नरेंद्र सिंह गौर राघवेंद्र मिश्रा नरेंद्र देव पांडे रणजीत सिंह मुरारी लाल अग्रवाल अविस्मरणीय पलों को याद करते हुए अपने संस्मरणों को भी सुनाया ।
25 दिसंबर 1924 स्कोर मध्यप्रदेश के ग्वालियर जिले में पिता कृष्ण बिहारी बाजपेई एवं माता कृष्णा देवी के घर जन में अटल बिहारी वाजपेई राजनीतिक जीवन की सबसे ऊंचाई पर पहुंचे वह सभी धर्मों के मानने वालों का सम्मान करते थे और सदैव शांति की मशाल जलाए रखने का प्रयास करते थे
शोक सभा में महानगर अध्यक्ष अवधेश गुप्ता ने अपने उद्बोधन में कहा कि अटल जी के निधन से सिर्फ भारतीय जनता पार्टी भारत देश ही नहीं अमित पूरा विश्व दुखी है उनके निधन को नूतन विचारों की वैश्विक क्षति बताया उन्होंने कहा कि आज एक राजनीतिक संत के युग का अंत हुआ उनके विचारों को लेकर आगे बढ़ना ही उनके प्रति सच्ची श्रद्धांजलि होगी
महापौर अभिलाषा गुप्ता ने कहा कि अटल जी एक ओजस्वी वक्ता सच्चे राष्ट्रभक्त कुशल शासक अच्छे कूटनीतिज्ञ के साथ-साथ दूरदृष्टा थे जिन्होंने अपने कार्यकाल में जनता को बड़ी-बड़ी योजनाओं की सौगात दी जो आज के राजनीतिक एवं सामाजिक जीवन जीने वालों के लिए मार्गदर्शक बनकर उन्हें आगे बढ़ा रही है
डॉ नरेंद्र सिंह गौर ने अपने उद्बोधन में अटल जी की मृत्यु को अपूर्णीय क्षति बताते हुए कहा कि उनका दुनिया से जाना एक राष्ट्र योद्धा का जाना बताया और कहा कि वह राष्ट्र को ही सर्वोपरि मानते थे राष्ट्र के सम्मान से उन्होंने कभी समझौता नहीं किया और जिसने राष्ट्र के ऊपर उंगली उठाई बिना नफा-नुकसान की बात सोचते हुए उसे ललकारा और अपनी जीत दर्ज कराई
पूरा वात्सल्य सभागार अटल जी अमर रहे अटल जी अमर रहे जब तक सूरज चांद रहेगा अटल जी आपका नाम रहेगा से गूंजता रहा
कुछ कार्यकर्ता कोने में बैठ कर अपने आंसू भी बहा रहे थे जिन्हें अन्य कार्यकर्ता ढाढ़स बंधा रहे थे
शोक सभा के अवसर पर शशि वार्ष्णेय गणेश केसरवानी कविता यादव हमीदा बानो संजय गुप्ता शिवेंद्र मिश्रा डॉ प्रेमलता श्रीवास्तव राजू पाठक विक्रमजीत सिंह भदौरिया आशीष गुप्ता कुंज बिहारी मिश्रा रवि केसरवानी श्याम चंद गिरि बाबा पवन श्रीवास्तव अनिल केसरवानी माया दिवेदी राजेश पांडे ज्ञानेश्वर शुक्ला मृत्युंजय तिवारी रतन दिक्षित किरण जयसवाल प्रेम नारायण केसरवानी गौरीश आहूजा विशाल अग्रवाल विश्वास श्रीवास्तव विजय पटेल भारी संख्या में कार्यकर्ता उपस्थित रहे
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